आज विश्व में हर देश में राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री राजा वा रानी का शासक है और उन सबके ऊपर विश्व में शैतान का आधिपत्य है। परमेश्वर ने बह्रामंड की रचना की और इसी में उसे फलने -फूलने और बढ़ने की आशीष दी।
मनुष्य जो परमेश्वर का प्रतिनिधि था उसे सभी वस्तुओं पर अधिकार दिया गया था ताकि सभी जीवजन्तुओ को अपने वस में रखे और परमेश्वर उनके साथ सहभागिता रखता था शर्त सिर्फ इतनी थी कि बाटिका में जो भले या बुरे के ज्ञान का जो वृक्ष है, उसका फल कभी न खाना: क्योकि जिस दिन तू उसका फल खायेगा उसी दिन अवश्य मर जाएगा।
आज्ञा उल्लंघन करने के पश्चात जो प्रभुता आदम के पास थी उसका स्वामी शैतान हो गया और उस दिन के पश्चात से आजतक वो ही संसार का शासक है। इस शासक से मनुष्य को छुड़ाने की कीमत अदा करने हेतु ही हमारा प्रभु यीशु मसीह सलीब की मृत्यु सही। इब्रा 2:14-15 इसलिए जब कि लड़के माँस और लहू के भागी है, तो वह आप भी उनके समान उनका सहभागी हो गया, ताकि मृत्यु के द्धारा उसे जिसे मृत्यु पर शक्ति मिली थी अर्थात शैतान को निकम्मा कर दे और जितने मृत्यु के भय के मारे जीवन भर दासत्व में फंसे थे, उन्हें छुड़ा ले। यीशु मसीह मृत्युंजय होकर मनुष्य का परमेश्वर के साथ मेल मिलाप कर दिया और मृत्यु के उपरांत बंद द्धार को खोल दिया जिसे हम अनंतकालीन जीवन कहते हैं।
यीशु ने अपने शिष्यों एवं अनुयायियो को एक सहायक (पवित्र आत्मा) देने की प्रतिज्ञा की थी जिसे उसने पिन्तेकुस के दिन दे दिया और अनुग्रह का युग शुरू हो गया। पवित्र आत्मा देने के पीछे परमेश्वर की मंशा यह थी कि लोग सच्चाई - खराई से जीवन व्यतीत करें और पाप से अपने आप को दूर रखें। परंतु संसार का मालिक शैतान नए-नए तौर तरीके अपनाकर एवं चकाचौंध से लोगों का बहुमूल्य समय चुराकर परमेश्वर के प्रति उदासीन बनाता चला गया और कलीसिया भी परमेश्वर के आशीष, चंगाई, चमत्कार, समृद्धि आदि की चासनी में उसके मूल उद्देश्य से भटक कर सिर्फ पृथ्वी पर की जरूरतों को ही पाने का ध्येय बना लिया मानो मृत्यु उपरांत कुछ होने वाला नहीं है। अनुग्रह का योग 2000 वर्षों का है जो पूरा होने के कगार पर है।
इससे पहले कि यह पूरा हो कुछ बातें हैं जो कलीसिया एवं संसार को जानने की आवश्यकता है:
1) संसार की कलीसिया में से कुछ मसीही तेजस्वी कलीसिया में पाए जाएंगे Pre-Tribulation के तुरंत बाद
2) छोड़ी गई कलीसिया वर्तमान पोप, झूठा भविष्यवक्ता द्धारा आरंभिक 3 1/2 साल धर्म के कारण सताव का सामना करेगी एवं उस काल में शहीद होकर ही स्वर्ग जाया जा सकता है क्योंकि अनुग्रह का द्धार बंद हो चुका होगा।
3) अंतिम 3 1/2 साल ख्रीस्त विरोधी का होगा जो यरुशलम के नए मंदिर में अपनी मूर्ति स्थापित करेगा - वो मूर्ति बोलेगी और यहूदियो का सताव चालू होगा।
संसार में सिर्फ एक राजा होगा। सारे राष्ट्र इस की अधीनता को मानने के लिए बाध्य होगा। उसके अंदर संयुक्त रूप से सिकंदर की तेजी, हिटलर की निर्दयता, किसिंगर की कूटनीति, नेपोलियन की भाषण-दक्षता, केसर की कठोरता एवं सबसे ऊपर बिल गेट्स का मस्तिष्क रहेगा। यह राजा आर्थिक एवं राजनीतिक तथा सैन्य शक्ति भरा होगा। क्योंकि इसको प्रभुता देने वाला स्वयं शैतान ख्रीस्त विरोधी तथा झूठा भविष्यवक्ता (त्रिएकता) द्धारा पूरे विश्व में 7 वर्षों का समय इनके पास होगा। एक राजा, एक धर्म और एक मुद्रा और यह मुद्रा शरीर के कपाल पर वा दाहिने हाथ पर होगा चिप्स के रूप में।
परमेश्वर शैतान की पूरी सामर्थ को 7 वर्षों में विश्व में खुली छूट देगा की भयंकर अराजकता पृथ्वी पर के लोगों के ऊपर हो क्योंकि वे लोग परमेश्वर के वचनोँ पर समय रहते विश्वास ना किया। कलीसिया के मेघारोहण के बाद से 7 वर्षों का समय चालू हो जाएगा एवं अंतिम लड़ाई हरमगीदोन के तराई में होगी जिसमें शैतान को हजार वर्षों के लिए अथाह कुंड में डाला जाएगा एवं ख्रीस्त विरोधी तथा झूठा भविष्यवक्ता आग की झील में डाला जाएगा।
यह परमेश्वर की योजना है शैतान के हाथों से पृथ्वी को मुक्त करने की जो अब बहुत निकट है। मसीह में प्यारे भाइयों एवं बहनों बाइबल हमें बिल्कुल स्पष्ट रीति से आगाह कर रहा है कि आने वाले इन वर्षों के भविष्य के गर्भ में क्या छुपा है लेकिन यदि हम केवल इसी जीवन (जन्म से मृत्यु तक) में मसीह से आशा रखते हैं तो हम सब मनुष्यों से अधिक अभागे हैं (1कुरिन्थियों 15:19) क्योंकि शारीरिक मृत्यु जीवन का अंत नहीं है - एक अनंत जीवन हमारी बाट जोह रहा है। आमीन
By Rev. Dr. Satish Kumar Kujur
मनुष्य जो परमेश्वर का प्रतिनिधि था उसे सभी वस्तुओं पर अधिकार दिया गया था ताकि सभी जीवजन्तुओ को अपने वस में रखे और परमेश्वर उनके साथ सहभागिता रखता था शर्त सिर्फ इतनी थी कि बाटिका में जो भले या बुरे के ज्ञान का जो वृक्ष है, उसका फल कभी न खाना: क्योकि जिस दिन तू उसका फल खायेगा उसी दिन अवश्य मर जाएगा।
आज्ञा उल्लंघन करने के पश्चात जो प्रभुता आदम के पास थी उसका स्वामी शैतान हो गया और उस दिन के पश्चात से आजतक वो ही संसार का शासक है। इस शासक से मनुष्य को छुड़ाने की कीमत अदा करने हेतु ही हमारा प्रभु यीशु मसीह सलीब की मृत्यु सही। इब्रा 2:14-15 इसलिए जब कि लड़के माँस और लहू के भागी है, तो वह आप भी उनके समान उनका सहभागी हो गया, ताकि मृत्यु के द्धारा उसे जिसे मृत्यु पर शक्ति मिली थी अर्थात शैतान को निकम्मा कर दे और जितने मृत्यु के भय के मारे जीवन भर दासत्व में फंसे थे, उन्हें छुड़ा ले। यीशु मसीह मृत्युंजय होकर मनुष्य का परमेश्वर के साथ मेल मिलाप कर दिया और मृत्यु के उपरांत बंद द्धार को खोल दिया जिसे हम अनंतकालीन जीवन कहते हैं।
यीशु ने अपने शिष्यों एवं अनुयायियो को एक सहायक (पवित्र आत्मा) देने की प्रतिज्ञा की थी जिसे उसने पिन्तेकुस के दिन दे दिया और अनुग्रह का युग शुरू हो गया। पवित्र आत्मा देने के पीछे परमेश्वर की मंशा यह थी कि लोग सच्चाई - खराई से जीवन व्यतीत करें और पाप से अपने आप को दूर रखें। परंतु संसार का मालिक शैतान नए-नए तौर तरीके अपनाकर एवं चकाचौंध से लोगों का बहुमूल्य समय चुराकर परमेश्वर के प्रति उदासीन बनाता चला गया और कलीसिया भी परमेश्वर के आशीष, चंगाई, चमत्कार, समृद्धि आदि की चासनी में उसके मूल उद्देश्य से भटक कर सिर्फ पृथ्वी पर की जरूरतों को ही पाने का ध्येय बना लिया मानो मृत्यु उपरांत कुछ होने वाला नहीं है। अनुग्रह का योग 2000 वर्षों का है जो पूरा होने के कगार पर है।
इससे पहले कि यह पूरा हो कुछ बातें हैं जो कलीसिया एवं संसार को जानने की आवश्यकता है:
1) संसार की कलीसिया में से कुछ मसीही तेजस्वी कलीसिया में पाए जाएंगे Pre-Tribulation के तुरंत बाद
2) छोड़ी गई कलीसिया वर्तमान पोप, झूठा भविष्यवक्ता द्धारा आरंभिक 3 1/2 साल धर्म के कारण सताव का सामना करेगी एवं उस काल में शहीद होकर ही स्वर्ग जाया जा सकता है क्योंकि अनुग्रह का द्धार बंद हो चुका होगा।
3) अंतिम 3 1/2 साल ख्रीस्त विरोधी का होगा जो यरुशलम के नए मंदिर में अपनी मूर्ति स्थापित करेगा - वो मूर्ति बोलेगी और यहूदियो का सताव चालू होगा।
संसार में सिर्फ एक राजा होगा। सारे राष्ट्र इस की अधीनता को मानने के लिए बाध्य होगा। उसके अंदर संयुक्त रूप से सिकंदर की तेजी, हिटलर की निर्दयता, किसिंगर की कूटनीति, नेपोलियन की भाषण-दक्षता, केसर की कठोरता एवं सबसे ऊपर बिल गेट्स का मस्तिष्क रहेगा। यह राजा आर्थिक एवं राजनीतिक तथा सैन्य शक्ति भरा होगा। क्योंकि इसको प्रभुता देने वाला स्वयं शैतान ख्रीस्त विरोधी तथा झूठा भविष्यवक्ता (त्रिएकता) द्धारा पूरे विश्व में 7 वर्षों का समय इनके पास होगा। एक राजा, एक धर्म और एक मुद्रा और यह मुद्रा शरीर के कपाल पर वा दाहिने हाथ पर होगा चिप्स के रूप में।
परमेश्वर शैतान की पूरी सामर्थ को 7 वर्षों में विश्व में खुली छूट देगा की भयंकर अराजकता पृथ्वी पर के लोगों के ऊपर हो क्योंकि वे लोग परमेश्वर के वचनोँ पर समय रहते विश्वास ना किया। कलीसिया के मेघारोहण के बाद से 7 वर्षों का समय चालू हो जाएगा एवं अंतिम लड़ाई हरमगीदोन के तराई में होगी जिसमें शैतान को हजार वर्षों के लिए अथाह कुंड में डाला जाएगा एवं ख्रीस्त विरोधी तथा झूठा भविष्यवक्ता आग की झील में डाला जाएगा।
यह परमेश्वर की योजना है शैतान के हाथों से पृथ्वी को मुक्त करने की जो अब बहुत निकट है। मसीह में प्यारे भाइयों एवं बहनों बाइबल हमें बिल्कुल स्पष्ट रीति से आगाह कर रहा है कि आने वाले इन वर्षों के भविष्य के गर्भ में क्या छुपा है लेकिन यदि हम केवल इसी जीवन (जन्म से मृत्यु तक) में मसीह से आशा रखते हैं तो हम सब मनुष्यों से अधिक अभागे हैं (1कुरिन्थियों 15:19) क्योंकि शारीरिक मृत्यु जीवन का अंत नहीं है - एक अनंत जीवन हमारी बाट जोह रहा है। आमीन
By Rev. Dr. Satish Kumar Kujur
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